Ladli Laxmi Yojana: सिर्फ पंजीकरण से मिल सकते हैं लाखों रूपये जानिए कैसे लाड़ली लक्ष्मी योजना बदल सकती है आपकी बेटी का पूरा भविष्य और सपना
Ladli Laxmi Yojana: में लाड़ली लक्ष्मी योजना बेटियों के जन्म को लेकर समाज में सकारात्मक सोच पैदा करने के लिए शुरू की गई है। इसका मकसद बेटियों के लिए बेहतर लिंग अनुपात बनाना उनकी शिक्षा के स्तर को सुधारना और उनके स्वास्थ्य को बेहतर करना है। यह योजना उनके उज्ज्वल भविष्य की नींव रखने के लिए एक मजबूत कदम है।
Ladli Laxmi Yojana: में लाड़ली लक्ष्मी योजना बेटियों के जन्म को लेकर समाज में सकारात्मक सोच पैदा करने के लिए शुरू की गई है। इसका मकसद बेटियों के लिए बेहतर लिंग अनुपात बनाना उनकी शिक्षा के स्तर को सुधारना और उनके स्वास्थ्य को बेहतर करना है। यह योजना उनके उज्ज्वल भविष्य की नींव रखने के लिए एक मजबूत कदम है। इस योजना के जरिए बेटियों को सशक्त बनाने का प्रयास किया जा रहा है ताकि वे आगे चलकर आत्मनिर्भर बन सकें और समाज में सम्मान पा सकें।
आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों के लिए सहारा
कई बार गरीब परिवार अपनी बेटियों को अच्छी शिक्षा दिलाने या उनकी शादी के लिए पैसे जमा करने में असमर्थ होते हैं। इसी को ध्यान में रखते हुए राज्य सरकार ने लाड़ली लक्ष्मी योजना शुरू की है। इस योजना के तहत बेटियों की पढ़ाई और शादी के लिए आर्थिक मदद दी जाती है। यह पैसा बेटी अपनी उच्च शिक्षा या शादी के लिए इस्तेमाल कर सकती है जिससे महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा मिलता है।
सरकार की तरफ से बेटी के नाम पर ₹1,43,000 का आश्वासन प्रमाण पत्र जारी किया जाता है। पंजीकरण के समय से लगातार पांच साल तक ₹6,000 प्रति वर्ष जमा किए जाते हैं जिससे कुल ₹30,000 की राशि बेटी के नाम पर जमा होती है। छठी कक्षा में दाखिला लेने पर ₹2,000 नौवीं में ₹4,000 ग्यारहवीं और बारहवीं में ₹6,000 की राशि दी जाती है। इसके बाद स्नातक या प्रोफेशनल कोर्स में दाखिला लेने पर दो किश्तों में कुल ₹25,000 की प्रोत्साहन राशि मिलती है।
योजना के लिए पात्रता क्या है
इस योजना का लाभ वही बेटियां उठा सकती हैं जो 1 जनवरी 2006 या उसके बाद जन्मी हों। बेटी का स्थानीय आंगनवाड़ी केंद्र में पंजीकरण होना जरूरी है और माता-पिता मध्यप्रदेश के निवासी हों। माता-पिता आयकरदाता नहीं होने चाहिए और परिवार नियोजन अपनाया गया होना चाहिए खासकर दूसरे बच्चे के बाद। अगर पहले प्रसव में तीन बेटियां एक साथ जन्मी हैं तो सभी को योजना का लाभ मिलेगा। जेल में बंद महिलाओं की बेटियों को भी योजना का फायदा मिलेगा।
आवेदन के लिए उम्मीदवारों को आधिकारिक पोर्टल पर जाना होगा। वहां "Apply Now" पर क्लिक करना होगा। इसके बाद Self Declaration देकर आगे बढ़ना होगा और बेटी व परिवार का समग्र आईडी डालना होगा। फिर जरूरी विवरण भरकर आवेदन सबमिट करना होगा। अनाथालय या संरक्षण गृह में रहने वाली बेटियों के लिए एक साल के भीतर आवेदन करना होगा। गोद ली गई बच्चियों के लिए भी गोद लेने के एक साल के भीतर आवेदन जरूरी है। विशेष मामलों में जिला कलेक्टर को स्वीकृति या अस्वीकृति का अधिकार है जो स्वास्थ्य संबंधी या देर से आए आवेदनों की गहन जांच के बाद निर्णय लेते हैं।
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