NMC: नकली मेडिकल कॉलेजों का खुलासा, NMC ने छात्रों को दिया बड़ा चेतावनी संदेश
राष्ट्रीय मेडिकल आयोग (NMC) ने छात्रों, अभिभावकों और आम लोगों के लिए एक महत्वपूर्ण एडवाइजरी जारी की है। इस चेतावनी में उन मेडिकल कॉलेजों और कोर्सेस के बारे में आगाह किया गया है
राष्ट्रीय मेडिकल आयोग (NMC) ने छात्रों, अभिभावकों और आम लोगों के लिए एक महत्वपूर्ण एडवाइजरी जारी की है। इस चेतावनी में उन मेडिकल कॉलेजों और कोर्सेस के बारे में आगाह किया गया है जो बिना अनुमति के मेडिकल एडमिशन दे रहे हैं और अपने आप को मान्यता प्राप्त बताकर धोखा दे रहे हैं। NMC ने स्पष्ट किया है कि केवल वे कॉलेज जिनका नाम आधिकारिक वेबसाइट nmc.org.in पर सूचीबद्ध है, वही MBBS और अन्य मेडिकल डिग्री कोर्स ऑफर करने के लिए अधिकृत हैं। जो कॉलेज इस सूची में नहीं हैं, उनके पास कोई वैध अनुमति नहीं है और वहां एडमिशन लेना छात्र के लिए जोखिम भरा हो सकता है।
नकली मेडिकल कॉलेजों के खिलाफ कार्रवाई, दो संस्थानों के नाम सामने आए
NMC ने दो ऐसे संस्थानों के नाम भी सार्वजनिक किए हैं जो धोखाधड़ी करके मेडिकल एडमिशन ले रहे थे। राजस्थान की सिंगानिया यूनिवर्सिटी पर बिना NMC की मान्यता के MBBS कोर्स चलाने का आरोप है और उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जा रही है। इसके अलावा पश्चिम बंगाल के हावड़ा में संचालित संजीवन हॉस्पिटल और मेडिकल कॉलेज भी बिना अनुमति के मेडिकल कोर्स चला रहा था, जिसके खिलाफ भी क़ानूनी कदम उठाए जा रहे हैं। यह कदम उन सभी कॉलेजों के लिए चेतावनी है जो नियमों का उल्लंघन कर छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ करते हैं।
विदेश से MBBS करने वाले छात्रों के लिए NMC के नियम
NMC ने विदेशों से MBBS और अन्य मेडिकल डिग्री हासिल करने वाले छात्रों को भी जरूरी नियमों के बारे में अवगत कराया है। आयोग ने कहा है कि विदेशी मेडिकल डिग्री के लिए छात्र को कम से कम 54 महीने की मेडिकल शिक्षा एक ही संस्थान से पूरी करनी होगी। इसके बाद 12 महीने का इंटर्नशिप भी उसी विश्वविद्यालय में पूरा करना अनिवार्य है। क्लिनिकल ट्रेनिंग को विभिन्न संस्थानों या देशों में बांटना स्वीकार्य नहीं होगा। साथ ही शिक्षा का माध्यम अंग्रेज़ी भाषा होना चाहिए। इसके अलावा छात्र ने NMC के शेड्यूल-1 में बताए गए विषयों का अध्ययन किया होना चाहिए।
विदेशी मेडिकल डिग्री के लिए जरूरी शर्तें और लाइसेंसिंग नियम
NMC ने यह भी स्पष्ट किया है कि जो उम्मीदवार विदेशों से मेडिकल की डिग्री प्राप्त करता है, वह संबंधित देश की प्रोफेशनल रेज़ुलेटरी बॉडी के साथ पंजीकृत होना चाहिए या वह उस देश में मेडिकल प्रैक्टिस का लाइसेंस प्राप्त करने के योग्य होना चाहिए। यह लाइसेंस उसी स्तर का होना चाहिए जो उस देश के नागरिकों को दिया जाता है। यदि यह शर्तें पूरी नहीं होतीं तो भारत में मेडिकल प्रैक्टिस के लिए उसकी डिग्री मान्य नहीं होगी। NMC ने कहा है कि आयोग समय-समय पर आधिकारिक वेबसाइट पर मान्यता प्राप्त कॉलेजों की सूची अपडेट करता रहेगा जिससे छात्रों को सही जानकारी मिल सके और वे धोखे से बच सकें।
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