Bihar News: बिहार में चुनावी जंग में नया मोड़, प्रशांत किशोर ने खोला अपनी राजनीति छोड़ने का राज
Bihar News: बिहार में 2025 के अंत में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं और जैसे-जैसे चुनाव की तारीख नजदीक आ रही है, राजनीति में उथल-पुथल बढ़ रही है। इस बीच, जन सुराज पार्टी के संस्थापक प्रशांत किशोर
Bihar News: बिहार में 2025 के अंत में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं और जैसे-जैसे चुनाव की तारीख नजदीक आ रही है, राजनीति में उथल-पुथल बढ़ रही है। इस बीच, जन सुराज पार्टी के संस्थापक प्रशांत किशोर ने एक बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा, "मेरा नाम प्रशांत किशोर है, मैं कोई राजनीतिक नेता नहीं हूं। मैं बिहार के एक साधारण परिवार का बेटा हूं। मेरे दादा बिहार में बैलगाड़ी चलाते थे, वह मजदूर थे। मेरे पिता सरकारी डॉक्टर थे। लोग कहते हैं कि पिछले 10 सालों में जो भी मैंने हाथ थामा, जो भी मैंने सलाह दी, वह जीतकर राजा बना। लेकिन ऐसा करने के 10 साल बाद मैंने तीन साल पहले यह काम छोड़ दिया।"
प्रशांत किशोर ने बताया क्यों छोड़ी राजनीति
प्रशांत किशोर ने आगे कहा, "10 सालों में मैंने बड़े नेताओं और बड़ी पार्टियों को जीतने में मदद की, लेकिन इससे लोगों की ज़िंदगी में कोई बदलाव नहीं आया। इसीलिए मैंने यह काम छोड़ दिया। मुझे लगा कि जब भगवान ने मुझे यह ज्ञान और शक्ति दी है कि जिस व्यक्ति को मैं सलाह दूं, उसकी ज़िंदगी बदल जाए, वह जीत जाए और राजा बन जाए, तो मैंने सोचा कि अब मुझे बिहार के लोगों को सलाह देनी चाहिए, ताकि उनकी ज़िंदगी भी बदले।"
प्रशांत किशोर ने रविवार (27 अप्रैल) को एक प्रेस कांफ्रेंस के दौरान यह घोषणा की कि वह बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सरकार के खिलाफ एक हस्ताक्षर अभियान शुरू करेंगे। यह अभियान अगले महीने मुख्यमंत्री के पैतृक गांव से शुरू होगा। प्रेस कांफ्रेंस में उन्होंने कहा, "हर किसी को यह जानना चाहिए कि नीतीश कुमार के अपने गांव की स्थिति क्या है। हम उनके सरकार के वादों को उजागर करेंगे, जैसे कि गरीब परिवारों को 2 लाख रुपये का वित्तीय सहायता देना। मुख्यमंत्री ने विधानसभा में कहा था कि राज्य भर में 94 लाख परिवार ऐसे हैं, जो इस मदद के पात्र हैं। लेकिन ऐसा लगता है कि यह वादा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 15 लाख रुपये देने के वादे की तरह एक और छलावा है।"
नीतीश कुमार सरकार के खिलाफ उठाएंगे सवाल
प्रशांत किशोर ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की सरकार की नाकामी को उजागर करने की योजना बनाई है। उनका कहना है कि नीतीश कुमार ने चुनावों से पहले जो वादे किए थे, उनमें से अधिकांश पूरी नहीं हो पाए हैं। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार ने गरीब परिवारों के लिए जो वित्तीय मदद देने की बात की थी, वह भी सिर्फ एक राजनीतिक स्टंट साबित हुई है। अब प्रशांत किशोर अपनी पार्टी के जरिए इस मुद्दे को उठाने का ऐलान कर चुके हैं और बिहार में एक बड़ा बदलाव लाने के लिए जन जागरूकता अभियान शुरू करेंगे।
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